स्वराज सत्याग्रह यात्रा: जिला परिषद कर्मचारियों द्वारा अपनी मांगों को मनवाने के लिए हड़ताल हिमाचल प्रदेश के जिला परिषद कैडर के 4700 कर्मचारी 30 सितंबर 2023 से अपनी मांगों …
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संविधान के वास्ते, गांधी के रास्ते यात्रा तीसरे दिन लखनऊ पहुंची गांधीवादी-समाजवादी नेता जुटे, संविधान, लोकतंत्र की रक्षा के लिए संघर्ष का ऐलान सुश्री मेधा पाटकर, प्रो0 आनंद कुमार, चंदनपाल …
गांधी की मीराबेन दत्तप्रसाद दाभोलकर महात्मा गांधी के बेहद करीबी लोगों में मीराबेन प्रमुख हैं। प्रस्तुत है, उन पर अनिल काररवानिस की लिखी मराठी पुस्तक ‘मीराबेन-आत्म्याच्या शोधात’ पर दत्तप्रसाद …
आज उन्नाव के सपूत का उनका जन्मदिन है। प्रखर समाजवादी स्वतंत्रता संग्राम सैनिक लोकसभा के सदस्य रहे और संविधान सभा के बहुत महत्वपूर्ण सदस्य विशंभर दयाल त्रिपाठी ने समाजवाद के …
बेढब बनारसी (कृष्ण प्रसाद गौड़ 1885-1968) की रचना ‘लफ्टंट पिगसन की डायरी’ से “सात आठ दिन हुए गुदड़ी बाज़ार की ओर निकल गया था. वहां मोटी जिल्द में बंधी कापी …
— शैलेन्द्र चौहान — भारतेन्दु हरिश्चन्द्र (9 सितंबर 1850 – 6 जनवरी 1885) आधुनिक हिंदी साहित्य के पितामह कहे जाते हैं। उनका मूल नाम ‘हरिश्चन्द्र’ था, ‘भारतेन्दु’ उनकी उपाधि थी। …
— अरविन्द कुमार — भारतीय साहित्य और कला में आधुनिकता का प्रवेश कब हुआ, यह गहन विचार-विमर्श का विषय है। लेकिन साहित्य और चित्रकला तथा फिल्मों में इस आधुनिकता को …
— संजीव ठाकुर — हमारे समाज में लोक-कथाओं का अस्तित्व सदियों से रहा है। गाँव-देहात के अशिक्षित लोगों – किसानों, मजदूरों, स्त्रियों के द्वारा बनी-बनाई इन लोक-कथाओं ने समाज का …
— शैलेन्द्र चौहान — भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के दौरान उत्प्रेरक झंडा गीत ‘विजयी विश्व तिरंगा प्यारा, झंडा ऊंचा रहे हमारा, इसकी शान न जाने पाए चाहे जान भले ही जाए’ …
— शैलेन्द्र चौहान — हरिशंकर परसाई हिंदी के पहले रचनाकार थे, जिन्होंने व्यंग्य को विधा का दर्जा दिलाया और उसे हल्के-फुल्के मनोरंजन की परंपरागत परिधि से उबारकर समाज के व्यापक …
वेब पोर्टल समता मार्ग एक पत्रकारीय उद्यम जरूर है, पर प्रचलित या पेशेवर अर्थ में नहीं। यह राजनीतिक-सामाजिक कार्यकर्ताओं के एक समूह का प्रयास है।
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