Tag: लोकतंत्र
वे औरंगजेब नहीं लोकतंत्र की कब्र खोद रहे
— अरुण कुमार त्रिपाठी —
वास्तव में वे औरंगजेब की नहीं लोकतंत्र की कब्र खोद रहे हैं। कब्र दो प्रकार से खोदी जाती है। एक...
कॉर्पोरेट बस्तर के सेप्टिक टैंक में दफ्न ‘लोकतंत्र’
— संजय पराते —
यदि पत्रकारिता लोकतंत्र की जननी है या पत्रकार लोकतंत्र के चौथे स्तंभ हैं, तो यकीन मानिए, 3 जनवरी की रात वह...
लोकतंत्र में भक्ति-प्रदर्शन खतरनाक संकेत है
— प्रेमकुमार मणि —
आम्बेडकर पर भाजपा नेता और गृहमंत्री अमित शाह की टिप्पणी को मैंने देखा-सुना. मुझे कुछ ऐसा नहीं लगा कि कोई आपत्तिजनक...
अगर इस संसद को संविधान बनाना होता
— अरुण कुमार त्रिपाठी —
भारतीय संविधान की हीरक जयंती पर संसद में चली चर्चा ने बहुत निराश किया। यह कल्पना करके सिहरन होती है...
संविधान पर बहस के बीच एक नागरिक हस्तक्षेप
— ध्रुव शुक्ल —
संसद में संविधान पर पहले दिन की बहस सुनते हुए लगा कि हमारे नेता संविधान पर एकाग्र नहीं हो पा रहे...
संसद में चर्चा से पहले संविधान के अंत:करण में झाॅंकता एक...
— ध्रुव शुक्ल —
लोकतंत्र में मतदान एक ऐसा निर्णय है जो किसी विचलित चित्तदशा में नहीं लिया जा सकता। मतदान केन्द्र पर इकट्ठे लोगों...
लोहिया को समझने की कोशिश
लोकतंत्र में नागरिकों की भीड़ को कई बार वोट बैंक में तब्दील करने की कोशिश को ही लोकतंत्र का सच्चा मायने लोग समझते हैं।...