1 मई। महाराष्ट्र के पुणे में विकासात्मक कार्यों संबंधी महत्वाकांक्षी परियोजना के लिए पेड़ों की कटाई किए जाने के विरोध में सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने मुथा नदी के किनारे ‘चलो चिपको’ प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने पेड़ काटे जाने के विरोध में तख्तियां पकड़ीं, ‘नदी, पेड़ और शहर बचाओ’ के नारे लगाए और नदी किनारे लगे पेड़ों से चिपक कर एक मानव श्रृंखला बनाई। कार्यकर्ताओं ने पुणे नगर निगम(पीएमसी) पर नदी कायाकल्प परियोजना के नाम पर ‘बंड गार्डन’ के निकट नदी किनारे प्राकृतिक हरियाली को नष्ट करने का आरोप लगाया।
उन्होंने आरोप लगाया कि नदी किनारे के एक किलोमीटर तक फैले कुछ दुर्लभ और पुराने पेड़ों सहित हजारों पेड़ों को काटा जा रहा है। इस बीच पीएमसी ने कहा कि काटे जाने वाले पेड़ों में कोई पुराना और दुर्लभ पेड़ नहीं है। पर्यावरण कार्यकर्ता सारंग यादवाडकर ने मीडिया के हवाले से बताया कि पर्यावरण मंजूरी इस शर्त पर दी गई थी कि एक भी पेड़ नहीं काटा जाएगा, लेकिन पीएमसी ने बिना किसी अनुमति के, पहले ही, पेड़ों की कटाई शुरू कर दी है। वहीं इस मामले पर पीएमसी के पर्यावरण अधिकारी मंगेश दिघे ने कहा कि इस परियोजना का उद्देश्य नदी के दोनों किनारों को बाढ़ से बचाना है, और शहर के बीचोंबीच हरित पट्टी बनाने के लिए पेड़ लगाए जाएंगे।
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