8 जुलाई। किसान संघर्ष समिति के अध्यक्ष, पूर्व विधायक डॉ सुनीलम ने कहा कि मोदी सरकार लगातार गरीब एवं किसान विरोधी कदम उठा रही है। उन्होंने बताया कि पहले बीपीएल परिवार को मध्य प्रदेश में 5 लीटर केरोसिन तेल दिया जाता था जिसे घटाकर अब 1 लीटर कर दिया गया है।
श्री नरेंद्र मोदी जब देश के प्रधानमंत्री बने थे तब केरोसिन तेल 16.50 रूपये प्रति लीटर था जो 2019 में बढ़कर 34 रुपये प्रति लीटर हुआ और अब 2022 में 65 रुपये प्रति लीटर हुआ तथा इस माह से 95 रुपये प्रति लीटर हो गया है। जिससे साफ है कि सबसे गरीब व्यक्ति के द्वारा इस्तेमाल किए जानेवाले ईंधन के दामों में 6 गुना की बढ़ोतरी की गई है।
डॉ सुनीलम ने कहा कि आज भी ग्रामीण क्षेत्रों में 60 फीसद से अधिक महिलाएं चूल्हे पर खाना बनाने और नहाने का पानी गर्म करने को मजबूर हैं क्योंकि उज्ज्वला योजना के तहत मिले सिलेंडर के दाम लगातार बढ़ रहे है । हाल ही में रसोई गैस सिलेंडर के दाम 50 रुपये बढ़ाकर 1058 रुपये कर दिया गया। जिन नौ करोड़ गरीबों को सबसिडी देने का वादा मोदी सरकार कर रही है, उन्हें भी समय पर सबसिडी नहीं मिल रही है। इसी तरह सरकार लगातार रासायनिक खाद के दाम बढ़ा रही है, इस कारण किसानों पर दोहरी मार पड़ रही है। डीएपी खाद पर 15 फीसद, सुपर फास्फेट पर15 फीसद, पोटाश पर 70 फीसद तक की वृद्धि की गई है तथा सोयाबीन बीज पर 1100 प्रति क्विंटल तक वृद्धि की गई है।
उक्त तथ्यों से यह स्पष्ट है कि भाजपा सरकार लगातार गरीब एवं किसान विरोधी कदम उठा रही है तथा केवल समाज को हिंदू -मुसलमान में बांटकर व्यस्त रखने का कार्य कर रही है।
डॉ सुनीलम ने कहा कि जिस तरह महंगाई से पूरे देश के आम नागरिक त्राहिमाम है उसी तरह से बेरोजगारी भी चरम सीमा पर पहुंच चुकी है। हाल ही के सर्वे के अनुसार देश में हर दूसरा युवा बेरोजगार है।
डॉ सुनीलम ने बताया कि संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा उक्त मुद्दों को लेकर 7 अगस्त से 14 अगस्त के बीच देश भर में 500 स्थानों पर जय जवान जय किसान सम्मेलन आयोजित किए जाएंगे तथा केंद्र सरकार द्वारा किसानों से की गई वादाखिलाफी को लेकर 31 जुलाई को देश भर में 4 घंटे का चक्का जाम किया जाएगा तथा लखीमपुर खीरी में केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्रा टेनी का इस्तीफा और गिरफ्तारी को लेकर 18, 19, 20 अगस्त को 75 घंटे का धरना आयोजित किया जाएगा।
डॉ सुनीलम ने सभी किसानों से इन सभी कार्यक्रमों मे भागीदारी करने की अपील की है।
– भागवत परिहार