— हिमांशु जोशी — सार्वजनिक स्थान हों या घर, इन दिनों हर जगह हमें छोटे से बड़े बच्चों के हाथ में स्मार्टफोन दिख जाते हैं। स्मार्टफोन में खोए हुए इन बच्चों के हाथों में घण्टों फोन देखने के बाद भी...
— रणधीर कुमार गौतम — सबसे पहले, डॉ. भीमराव अंबेडकर जी का भारतीय संविधान के निर्माता के रूप में राष्ट्र निर्माण में उनकी भूमिका से सभी परिचित हैं। "India will have a society in which there will be togetherness of...
— विनोद कोचर — जिन दिनों पश्चिमी यूरोप के देश और निवासी अपनी मौलिक सूझबूझ और ज्ञान शक्ति के सहारे विश्व पर अपनी भौतिक और मानसिक प्रभुता स्थापित करने की ओर अग्रसर हो रहे थे, उन दिनों की दुखद विडंबना...
— शैलेन्द्र चौहान — गत 15 तारीख को हूबहू मेरी आवाज और स्टाइल में एक फोन मेरे नागपुर के पुराने सहकर्मी श्री बी के काबरा के पास आया| जिसमें उसने उनसे कहा कि पूना में मेरे किसी मित्र का एक्सीडेंट...
— पंकज मोहन — हिन्दी साहित्य की सबसे बडी सेवा उन साधकों ने की जिन्होंने लोक और शास्त्र के अन्तरावलम्बन को समझा है और हिन्दी साहित्यालोचन का पथ उन मनीषियों ने प्रशस्त किया है जिन्होने हिन्दी के साथ-साथ सामान्य रूप...
— रवीश कुमार — शिक्षक मुझे हमेशा आकर्षित करते हैं। अच्छे शिक्षक तो और भी ज्यादा। इसकी वजह यह रही कि मुझे अच्छे शिक्षकों का साथ मिला है। ऐसा नहीं है कि बुरे शिक्षक जीवन में नहीं आए मगर अच्छे...
— डॉ. कश्मीर उप्पल — इस वर्ष के आईएएस और दसवीं-बारहवीं के रिजल्ट में देश और प्रदेश की लड़कियों और गरीब वर्ग के छात्रों ने अपने सीमित साधनों और अभ्यास के बल पर अभूतपूर्व सफलता प्राप्त की है। यह केवल...
— अरमान — प्रेमचंद ने अपने उपन्यास 'कर्मभूमि' में लिखा है कि यह शिक्षालय है या जुर्मानालय, जहाँ फीस न देने पर नाम काट दिए जाते हैं। शिक्षा के सवाल को प्रेमचंद तब उठा रहे थे, जब देश गुलाम था। वे...
— अरमान अंसारी — बेतिया से दिल्ली आते समय ट्रेन में शाहिल और उसके अब्बा से मुलाकात हुई। शाहिल की उम्र तेरह-चौदह साल की है।कोविड की तालाबंदी के पहले, शाहिल पूर्वी चंपारण, मोतिहारी के एक प्राइवेट स्कूल में पढ़ाई कर...
— अंकित कुमार निगम — अतीत में हिंदुत्ववादी व्यवस्था द्वारा भारत के शोषितों, वंचितों पर अगणित शास्त्रीय नियोग्यताएँ थोप दी गयीं। इनमें से प्रमुख थीं शिक्षा, संपत्ति और शस्त्र के अधिकार से वंचित किया जाना। सदियों से अशिक्षा के घोर...