27 जून। गोवा की राजधानी पणजी के आजाद मैदान में अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल पर बैठी आँगनबाड़ी कार्यकर्ताओं में से एक की तबीयत शनिवार को बिगड़ गयी। बीमार कार्यकर्ता का गोवा मेडिकल कॉलेज (GMC) में इलाज चल रहा है। हालांकि कार्यकर्ताओं ने कहा, कि इस घटना का हड़ताल पर कोई असर नहीं होगा। उन्होंने हड़ताल वापस लेने से इनकार कर दिया है।
कुछ महीनों पहले पणजी में वेतन और पेंशन में बढ़ोतरी की माँग को लेकर हड़ताल में शामिल सात आँगनवाड़ी कार्यकर्ताओं की सेवाएं समाप्त कर दी गयी थीं जिसके बाद से ये सात कार्यकर्ता अपनी माँगों को लेकर अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल पर हैं। भूख हड़ताल में शामिल एक महिला कार्यकर्ता का अचानक ब्लड प्रेशर और शुगर लेवल बढ़ जाने के कारण तबीयत बिगड़ गयी थी, जिसके बाद उन्हें नजदीकी अस्पताल ले जाया गया था।
अस्पताल में भर्ती महिला धारबंदोरा में आँगनवाड़ी कार्यकर्ता के रूप में काम करती हैं। गोवा कांग्रेस अध्यक्ष अमित पाटकर के साथ सांताक्रूज विधायक रोडोल्फो फर्नांडिस और कांग्रेस के पदाधिकारी हृदयनाथ शिरोडकर, महेश म्हाम्ब्रे, विरियाटो फर्नांडिस और अन्य लोग बीमार आँगनबाड़ी कार्यकर्ता से मिलने के लिए अस्पताल पहुँचे। उपस्थित सभी नेताओं ने मुख्यमंत्री से सभी सात आँगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को बहाल करने की अपील की है। शिरोडकर ने कहा, “अगर वे मुझे निशाना बनाना चाहते हैं, तो वे ऐसा कर सकते हैं।” साथ ही उन्होंने कहा, कि सरकार महिलाओं से बदला ले रही है। “महिलाओं को क्यों निशाना बनाते हैं? क्या सरकार की कोई भावना है? लगता है सरकार आम आदमी को भूल गई है।”
शिरोडकर ने कहा, कि पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर ने इस मुद्दे को तुरंत हल किया होता।गौरतलब है, कि अभी कुछ दिनों पहले मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने कहा था, कि वह वेतन और पेंशन में बढ़ोतरी की माँग को लेकर हड़ताल में शामिल सात आँगनवाड़ी कार्यकर्ताओं की सेवाएं समाप्त किए जाने के मुद्दे पर गौर करेंगे। साथ ही उन्होंने आँगनवाड़ी कार्यकर्ताओं से भी मुलाकात भी की थी।
(‘वर्कर्स यूनिटी’ से साभार)
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