8 जुलाई। छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में प्रदर्शन करने पहुँचे 2,000 से ज्यादा स्कूल सफाई कर्मियों ने हाईवे जाम कर दिया। माना से रायपुर को जोड़ने वाली धमतरी रोड पर बड़ी तादाद में सफाई कर्मचारी पहुँच गए और नारेबाजी करने लगे। फिलहाल इन्हें हटाने का प्रयास प्रशासन कर रहा है। रायपुर में मंगलवार को अचानक प्रदेश के अलग-अलग जिलों से स्कूल सफाईकर्मी पहुँच गए। दो हजार से ज्यादा की तादाद में रायपुर पहुँचे इन सफाई कर्मियों ने नवा रायपुर के राज्य उत्सव मैदान में धरना दे दिया। काफी देर तक यहाँ नारेबाजी चलती रही। इसके बाद अचानक सभी उठकर रायपुर की तरफ मार्च करने लगे।
आसपास के थानों की पुलिस ने फौरन मौके पर बैरिकेडिंग करते हुए प्रदर्शनकारियों को रोक लिया। पुलिस की टीम प्रदर्शनकारियों को राज्यों उत्सव मैदान पर घेर नहीं सकी, सभी आगे बढ़ते हुए हाईवे की ओर आ गए। फौरन मौके पर अतिरिक्त पुलिस फोर्स मंगवाई गई और बेरीकेडिंग की गई। अब रायपुर में घुसने से सफाई कर्मियों को रोका जा रहा है। नवा रायपुर के राज्य उत्सव स्थल से रायपुर की तरफ आने वाली सड़क पर अब पुलिसकर्मी और सफाई कर्मियों के बीच झूमाझटकी हो रही है। प्रशासनिक अफसर सफाई कर्मियों को यहीं रोकने के लिए समझा रहे हैं, मगर प्रदर्शनकारी नारेबाजी करते हुए रायपुर जाने पर अड़े हुए हैं।
पिछले 135 दिनों से रायपुर राजधानी में भी स्कूल सफाई कर्मचारी धरना दे रहे हैं। इनकी माँग है, कि इन्हें नियमित किया जाए वेतनमान भी सुधारने की माँग सफाई कर्मचारी कर रहे हैं। फिलहाल इन्हें 2300 मानदेय के तौर पर दिया जाता है। पिछले लगभग 4 महीनों से कामकाज बंद कर सफाई कर्मी सिर्फ इसी माँग को पूरा करवाने के लिए आंदोलन में डटे हुए हैं। बीते रविवार इन कर्मचारियों की मुलाकात स्कूल शिक्षा मंत्री प्रेमसाय से भी हुई थी। प्रेमसाय ने सफाई कर्मचारियों को आंदोलन बंद कर काम पर लौटने कहा था। मगर शिक्षा मंत्री की बात का असर स्कूल सफाई कर्मचारियों पर नहीं हुआ और अब मंगलवार को आंदोलन में तनाव के हालात बन चुके हैं।
लंबे वक्त से माँग पूरी ना होता देख कुछ दिन पहले प्रदेश भर के 43000 सफाई कर्मचारियों ने एकसाथ अपना इस्तीफा भी सौंप दिया है। अब इनका कहना है, कि जब तक माँग पूरी नहीं हो जाती तब तक ही आंदोलन जारी रखेंगे। दूसरी तरफ प्रदेश के सरकारी स्कूलों में साफ सफाई की व्यवस्था ठप पड़ चुकी है। कई जगहों से बच्चों द्वारा उस स्कूल का टॉयलेट साफ करते हुए तस्वीरें भी सामने आ चुकी हैं।
सफाई कर्मियों के नेशनल हाइवे पर उतर आने से पैदा जाम को हटाने पहुँची रायपुर पुलिस ने खुद ही बड़ा जाम लगा दिया। सड़क को बेतरतीब तरीके से बेरीकेड लगाकर बंद कर दिया गया। लेकिन कहीं भी यातायात को दूसरी सड़क पर मोड़ने की व्यवस्था नहीं बनाई। शाम को सरकारी दफ्तरों में छुट्टी हुई ताे नवा रायपुर से दर्जनों बसें एकसाथ निकलीं। जाम वाली सड़क पर जाते हुए पुलिस ने उन्हें कहीं भी नहीं रोका।
परिणाम यह हुआ कि अफसरों-कर्मचारियों की कारें, बसें और दूसरी गाड़ियां फंस गईं। कई अफसरों ने रायपुर एसएसपी को फोन लगाया, लेकिन फोन नहीं उठा। करीब डेढ़-दो घंटे की मशक्कत के बाद किसी तरह गाड़ियों को पीछे ले जाकर जाम से निकाला गया। कई अफसरों ने बताया, पुलिस ने पिछले चौराहों पर ही जाम की जानकारी देकर यातायात मोड़ दिया होता तो जाम की स्थिति नहीं बनती।
(‘मेहनतकश’ से साभार)