विषमता की बिसात पर वनवासी
— जयराम शुक्ल —
मध्यप्रदेश सरकार के मंत्री बिसाहूलाल सिंह के एक बयान से क्षत्रिय वर्ग के लोग आगबबूला हैं। इसकी प्रतिक्रिया में क्षत्रियों के...
शादी किसी की एक महीने की जेल हमें!
— प्रोफ़ेसर राजकुमार जैन —
सन 1968 में दिल्ली में संयुक्त सोशलिस्ट पार्टी के हमारे नेता थे, साथी सांवलदास गुप्ता। गुप्ता जी की रहनुमाई...
श्रीमद् राजचंद्र की आध्यात्मिक विरासत
— सुज्ञान मोदी —
आजादी का अमृत महोत्सव वर्ष मनाया जा रहा है। लेकिन किसी भी आधुनिक राष्ट्र के जीवन में 75 वर्ष का समय...
पटाखों से मत लड़ो !
— प्रेरणा —
मैं इस उलझन में हूं कि किसी को यह कैसे समझाऊं कि आपकी समझ कोई 80-90 साल पुरानी है; और इतनी खतरनाक...
नेहरू का रचनात्मक राष्ट्रवाद
— नीरज कुमार —
जवाहरलाल नेहरू आधुनिक भारत के एक सुलझे हुए राजमर्मज्ञ थे। नेहरू जी का राजनीति-दर्शन उन जीवंत विचारों में निहित है जो...
महिलाओं की पूजा और लंबी उम्र की कामना के लिए भी...
— दिवेश रंजन —
साल में ऐसे कई पर्व हैं जिसमें बहनें अपने भाइयों के लिए व्रत रखती हैं और पूजा करती हैं लेकिन ऐसा...
सांप्रदायिक ताकतों की फितरत
— मुनेश त्यागी —
सभी तरह की साम्प्रदायिक ताकतें वैसे तो अपने अपने धर्म की बातें करती हैं। पर असल में ये ताकतें धर्म की...
पर्व बनाम प्रदूषण
— जयराम शुक्ल —
दीपावली की रात के बाद होनेवाली सुबह अजीब मनहूसियत से भरी होती है। वैसे भी यह परीबा (प्रतिपदा) का दिन होता...
भाईजी का जीवन एक नदी की तरह था
— रमेश चंद्र शर्मा —
शब्द, बोल, विचार, सर्व धर्म प्रार्थना, गीत, संगीत, अच्छे कर्म, साधना, मौन, श्रम कभी मरते नहीं हैं। कभी विविध कारण...
गांव बदलेगा तो देश बदलेगा
— हिमांशु जोशी —
बंगाल या फिर केरल के गांवों में आप घूमेंगे तो आपको वहां पब्लिक लाइब्रेरी आसानी से दिख जाएंगी। बंगाल ने उस...
















